उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद जिले के रहने वाले इतिहासकार डॉ अनुपम सिंह ने संभल की शाही जामा मस्जिद और हरिहर मंदिर मामले पर 1968 की गजेटियर को दिखाते हुए दावा किया. उन्होंने कहा कि पहले इस स्थान पर मंदिर हुआ करता था, जिसे बाद में मस्जिद बना दिया गया था. जो 1968 की अभिलेखों में दर्ज है. हालांकि अभी ये मामला कोर्ट में चल रहा है और विवादित है.
संभल की जमा मस्जिद अक्सर सुर्खियों में रहती है. जमा मस्जिद के हरिहर मंदिर होने का दावा किया गया है. मस्जिद में मंदिर के निशान मौजूद होने का दवा किया जा रहा है. जब इस मामले को लेकर मुरादाबाद के इतिहास का डॉक्टर अनुपम से बात की गई तो उन्होंने बताया कि 1968 में उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद के जिले का रजिस्टर जो तैयार किया गया था. इस सरकारी गजेटियर में संभल जामा मस्जिद के मुख्य परिषद की तस्वीर के ऊपर स्थित हरिहर मंदिर लिखा गया है. उनका कहना है कि कोर्ट में जो भी फैसला लिया जाएगा. उससे वह पूरी तरीके से सहमत होंगे. लेकिन सच्चाई जानने के लिए इतिहासकारों की मदद और पुरातत्व विभाग की टीम की मदद लेना जरूरी है.